इंफाल
मणिपुर में हिंसा जारी है। शुक्रवार देर रात भाजपा मंडल कार्यालय में भीड़ ने तोड़फोड़ की। इसके बाद शनिवार सुबह एक घर को जला दिया। सेना और रैपिड एक्शन फोर्स (आरएएफ) ने भाजपा कार्यालयों और मणिपुर के भाजपा प्रध्यक्ष के घर को हिंसक भीड़ से बचा लिया। गुरुवार को विदेश राज्य मंत्री आर के रंजन सिंह के घर पर भी हमला किया गया था। शुक्रवार शाम को इंफाल में पोरोमपत के पास भाजपा की प्रदेश अध्यक्ष अधिकारमयुम शारदा देवी के घर को नष्ट करने की कोशिश की गई।
सुरक्षा सूत्रों ने कहा कि सेना की एक टुकड़ी और आरएएफ के जवान इलाके में पहुंचे और भाजपा अध्यक्ष के घर पर हमला करने से पहले भीड़ को तितर-बितर कर दिया। इसके अलावा आरएएफ ने भीड़ को मणिपुर सरकार में मंत्री थोंगम बिस्वजीत के घर में तोड़फोड़ करने से रोका। आपको बता दें कि भीड़ में 300 से अधिक लोग शामिल थे। इनमें से कई के पास हथियार भी थे। सूत्रों ने कहा कि एक अन्य भीड़ ने सिंगामेई इलाके में भाजपा कार्यालय का घेराव किया। इरेंगबाम पुलिस थाने में भी घुसने की कोशिश की। दोनों प्रयासों को विफल कर दिया गया। सेना, असम राइफल्स, आरएएफ और असम पुलिस ने बाद में मणिपुर की राजधानी में संयुक्त फ्लैग मार्च निकाला।
बीजेपी ने भीड़ के हमलों पर टिप्पणी करने से इनकार करते हुए कहा, "कुछ खास लोगों के द्वारा इस तरह के हमले किए जा रहे हैं। पार्टी इस मामले पर कुछ भी नहीं बोलना चाहती है।" मणिपुर भाजपा के प्रवक्ता इलांगबम जॉनसन ने कहा, 'हम बोलने के लिए सही समय का इंतजार कर रहे हैं। सिविल सोसाइटी के साथ-साथ विपक्ष का भी दबाव है कि पार्टी चुप क्यों है। जनता भी निश्चित रूप से पार्टी का रुख जानना चाहेगी, लेकिन हमने चुप रहने के लिए रणनीति अपनाई है।'' कांग्रेस ने आरोप लगाया कि मणिपुर के कम से कम 10 विपक्षी दलों के सदस्य नई दिल्ली में पीएम नरेंद्र मोदी से मिलने का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन उन्हें 10 जून के बाद से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली है। 20 जून को विदेश यात्रा पर जाने से पहले हमसे मिलने का समय निकाल लेंगे।