अमृतसर
खालिस्तानी समर्थक अमृतपाल सिंह की गिरफ्तारी के बाद से पंजाब में हाई अलर्ट है। अमृतपाल की खालिस्तानी आतंकवादी जरनैल सिंह भिंडरावाले के पैतृक गांव रोडे से गिरफ्तारी हुई थी। इसी दिन पंजाब पुलिस की काउंटर इंटेलिजेंस (सीआई) विंग के साथ एक संयुक्त अभियान में, सीमा सुरक्षा बल के जवानों ने भारत-पाकिस्तान सीमा से लगे गुरदापुर जिले में एक ड्रोन बरामद किया। यह ड्रोन गेहूं की फसल की कटाई के दौरान मिला। बीएसएफ अधिकारियों ने बताया कि इलाके के पास तलाशी अभियान भी चलाया। मीडिया रिपोर्ट्स हैं कि साल 2022 में पाकिस्तान से पंजाब में ड्रग्स ले जाने वाले ड्रोनों की सबसे अधिक आवाजाही देखी गई। केंद्रीय एजेंसियों को संदेह है कि यह खतरा खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह के पंजाब आने से जुड़ा हुआ है।
डेटा के अनुसार, साल 2022 में पंजाब से लगती पाक सीमा पर तैनात सीमा सुरक्षा बलों ने राज्य में 256 ड्रोन गतिविधियों का पता लगाया है, इनमें से 90 प्रतिशत भारतीय क्षेत्र के अंदर थे। आंकड़ों के मुताबिक, 2021 में बीएसएफ ने 67 ड्रोन मूवमेंट देखे गए। आंकड़ों से यह भी पता चलता है कि जम्मू सीमा पर पिछले साल ड्रोन की आवाजाही में वृद्धि देखी गई, जिसमें देखे जाने के कुल मामलों में तीन गुना वृद्धि हुई।
रविवार को पंजाब के गुरदारपुर जिले में बरामद ड्रोन के बारे में जानकारी देते हुए बीएसएफ प्रवक्ता ने कहा कि जिले शाहपुर गोराया गांव के पास एक ड्रोन बरामद हुआ है। ड्रोन को एक खेत में गेहूं की फसल की कटाई के दौरान बरामद किया गया था। कहा, 'रविवार को सीआई गुरदासपुर से मिली सूचना के आधार पर सीमावर्ती गांव शाहपुर गोराया के पास गहरे इलाके में संयुक्त तलाशी अभियान शुरू किया गया। तलाशी के दौरान गांव के खेत से एक ड्रोन (क्वाडकॉप्टर, डीजेआई मैट्रिस 300 आरटीके) बरामद किया गया।'
पाकिस्तान से देर रात में हुई घुसपैठ
बीएसएफ अधिकारी के मुताबिक, “ऐसी संभावना है कि ड्रोन ने देर रात में पाकिस्तान से भारत की ओर घुसपैठ की थी। जिसके बाद तैनात बीएसएफ सैनिकों द्वारा इसका पता लगाया गया था और उस पर गोलीबारी की गई थी। इस ड्रोन के घुसपैठ के बाद पाकिस्तानी क्षेत्र में लौटने की सूचना नहीं थी। मामले में जांच की जा रही है।
बिल्ला जैसे पाक ड्रग डीलरों से जुड़े अमृतपाल के तार!
न्यूज 18 की रिपोर्ट के मुताबिक, खुफिया सूत्रों ने कहा है कि अमृतपाल सिंह के लिंक पाकिस्तान में स्थित बिल्ला, बिलाल और राणा जैसे सीमा पार के ड्रग डीलरों से जुड़े हुए हैं। उन्होंने कहा कि ये डीलर स्थानीय अपराधियों और सीमा के करीब स्थित ग्रामीणों की मदद से भारत में ड्रग्स की आपूर्ति कर रहे हैं। अधिकारियों का दावा है कि अमृतपाल सिंह की मदद से पंजाब को हथियार, गोला-बारूद और ड्रग्स की नियमित आपूर्ति हो रही थी। खालिस्तान की पैरवी करने वाला अमृतपाल स्थानीय स्तर पर पाकिस्तान में लोगों के साथ निकट समन्वय में आपूर्ति का प्रबंधन कर रहा था, पंजाब में कानून और व्यवस्था को अस्थिर करने के लिए तस्करी कर रहा था।