इस्लामाबाद
गाजा युद्ध के बीच ईरान समर्थक यमन के हूती विद्रोहियों और अमेरिका के बीच लाल सागर में जोरदार वार पलटवार चल रहा है। हूती विद्रोहियों के कई मिसाइल और ड्रोन हमलों के बाद अमेरिका ने भी कई बार भीषण जवाबी हमले किए हैं। अमेरिका ने हूतियों के कई ठिकानों को तबाह कर दिया है। इसके बाद भी हूतियों के व्यापारिक जहाजों पर हमले रुक नहीं रहे हैं। इससे दुनिया का यह व्यस्त व्यापारिक मार्ग ठप हो गया है। इन सबके बीच अब अमेरिका ने खुलासा किया है कि हूतियों को पाकिस्तानी नागरिक हथियारों की सप्लाई कर रहे हैं। अमेरिका ने ऐसे 4 पाकिस्तानियों को अरेस्ट किया है जो ईरान से मिसाइलों के कलपुर्जे समेत अन्य हथियार हूतियों को पहुंचा रहे थे। अमेरिका के इस खुलासे से पाकिस्तानी सरकार में हड़कंप है।
अमेरिकी मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक ईरानी मिसाइलों के कजपुर्जे और कई अन्य घातक हथियार लेकर जा रहे इस जहाज के पाकिस्तानी कैप्टन ने अमेरिका की नौसेना से भी झूठा बोला था। अरब सागर में जब उनके जहाज पर अमेरिकी कमांडो पहुंचे तो पाकिस्तानियों ने कहा कि किसी भी हथियार से साफ इंकार किया था। अमेरिकी नौसेना ने इन सभी को अरेस्ट कर लिया है और जेल में डाल दिया है। यह घटना 11 जनवरी को अरब सागर में हुई थी। अदालती दस्तावेजों के अनुसार, जहाज के पाकिस्तानी कप्तान मुहम्मद पहलवान ने अमेरिकी नेवी द्वारा जहाज पर चढ़ने का प्रयास करने पर धीमा करने से इनकार कर दिया था।
हूतियों को दे रहे क्रूज मिसाइल के पुर्जे
यही नहीं मुहम्मद ने अमेरिकी नौसेना के नियंत्रण से पहले चालक दल को नाव में आग लगाने का निर्देश भी दिया। कप्तान मुहम्मद द्वारा नाव की गति बढ़ाने के प्रयासों के बावजूद, चालक दल के एक अन्य सदस्य ने अंततः इंजन बंद कर दिया। दुखद रूप से, पाकिस्तानी चालक दल से भरे इस जहाज पर चढ़ने के प्रयास में दो अमेरिकी नौसैनिक सील कमांडो डूब गए। यूएस नेवी ने बताया कि पोत और सील कमांडो के लड़ाकू शिप के बीच की खाई में गिर गए। बचाव प्रयासों के बावजूद, दोनों सील कमांडो को मृत घोषित कर दिया गया।
अमेरिका के शक्तिशाली ड्रोन का हूतियों ने किया सफाया
हिरासत में सुनवाई के दौरान पहलवान ने शुरू में नाव के इंजीनियर होने का दावा किया था और कहा था कि कप्तान जहाज छोड़कर चला गया था। हालांकि, बाद में उसने खुद का खंडन किया और कप्तान होने की बात स्वीकार की। अभियोजन पक्ष ने तर्क दिया कि पहलवान को हिरासत में रखा जाना चाहिए क्योंकि वह समुदाय के लिए खतरा है। इस नाव के पाकिस्तानी कप्तान को अब सबसे गंभीर आरोप में अधिकतम 20 साल की जेल की सजा हो सकती है। जहाज की तलाशी लेने पर, अमेरिकी सेना को ईरानी-निर्मित अत्याधुनिक पारंपरिक हथियार मिले, जिसमें मध्यम दूरी की बैलिस्टिक मिसाइलों और जहाज-रोधी क्रूज मिसाइलों के पुर्जे शामिल थे।
अमेरिकी ऐक्शन से पाकिस्तानियों की बढ़ी घबराहट
जांच से पता चला कि चालक दल के सदस्य सैटेलाइट फोन के जरिए ईरान के अर्धसैनिक बल रिवोल्यूशनरी गार्ड के एक सदस्य के संपर्क में थे। इन सभी 4 पाकिस्तानियों को सुनवाई के दौरान दोषी पाया गया है। इस बीच अमेरिका के इस खुलासे के बाद पाकिस्तान की पोल खुल गई और घबराहट बढ़ गई है। यही वजह है कि पाकिस्तान का विदेश मंत्रालय अब इन पाकिस्तानियों को बचाने में जुट गया है। पाकिस्तान अब खुलासे के बाद अपने इन दोषी नागरिकों को बचाने की कोशिश में लग गया है और काउंसलर एक्सेस मांग रहा है।