Home मध्यप्रदेश राष्ट्रीय स्वच्छ वायु दिवस कार्यक्रम भोपाल में 7 सितम्बर को

राष्ट्रीय स्वच्छ वायु दिवस कार्यक्रम भोपाल में 7 सितम्बर को

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देश में पहली बार दिल्ली से बाहर भोपाल में होगा यह कार्यक्रम
स्वच्छ वायु सर्वेक्षण के विजेता शहरों को मिलेगा पुरस्कार

भोपाल

अंतर्राष्ट्रीय स्वच्छ वायु दिवस-2023 (इंटरनेशनल-डे ऑफ क्लीन एयर फॉर ब्ल्यू स्काईज) पर केन्द्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा मध्यप्रदेश पर्यावरण विभाग के सहयोग से भोपाल में राष्ट्रीय कार्यक्रम किया जा रहा है। अब तक यह कार्यक्रम नई दिल्ली में हुआ था। यह पहली बार है कि "इंटरनेशनल-डे ऑफ क्लीन एयर फॉर ब्ल्यू स्काईज'' का राष्ट्रीय कार्यक्रम दिल्ली से बाहर किसी राज्य मध्यप्रदेश के भोपाल में किया जा रहा है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और केन्द्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेन्द्र यादव की उपस्थिति में कार्यक्रम का शुभारंभ 7 सितम्बर को सुबह 11 बजे कुशाभाऊ ठाकरे सभागार में होगा। केन्द्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे, प्रदेश के पर्यावरण मंत्री हरदीप सिंह डंग, नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेन्द्र सिंह विशिष्ट अतिथि होंगे।

"टूगेदर फॉर क्लीन एयर" कार्यक्रम में स्वच्छ वायु सर्वेक्षण-2023 में प्रथम तीन स्थान पाने वाले शहरों को भी पुरूस्कृत किया जायेगा। मध्यप्रदेश ने इसमें विशेष सफलता हासिल की है। दस लाख से अधिक आबादी वाले शहरों की श्रेणी में इंदौर ने प्रथम और भोपाल ने 5वाँ स्थान, जबलपुर ने 13वाँ और ग्वालियर ने 41वाँ स्थान प्राप्त किया है। तीन से 10 लाख तक शहरों की श्रेणी में सागर को देश में 10वाँ और 3 लाख से कम आबादी वाले शहरों में देवास को 6वाँ स्थान मिला है।

स्वच्छ वायु सर्वेक्षण 2023 में 10 लाख से अधिक आबादी वाले शहरों की श्रेणी में इंदौर को प्रथम, आगरा द्वितीय, ठाणे तृतीय, 3 से 10 लाख आबादी श्रेणी में अमरावती प्रथम, मुरादाबाद द्वितीय, गुंटूर तृतीय और 3 लाख से कम आबादी की श्रेणी में परवानू प्रथम, काला अंब द्वितीय और अंगुल तृतीय रहे हैं।

कार्यक्रम में नेशनल क्लीन एयर प्रोग्राम की सफलता की कहानियों पर आधारित लघु फिल्म का प्रदर्शन भी होगा। इस अवसर पर लगायी जाने वाली प्रदर्शनी में मिशन लाइफ, गौ-काष्ठ, अपशिष्ट प्रबंधन, कार्बन कैप्चर, प्रदूषण नियंत्रण के उपाय, प्लास्टिक अपशिष्ट प्रबंधन, क्लीन एयर प्रोजेक्ट, सेल्फी कियोस्क, सीमेंट उद्योग में प्रदूषण नियंत्रण, भीमा बाँस रोपण आदि स्टॉल होंगे।