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जदयू ने 98 सदस्यीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी का किया गठन, हरिवंश सिंह की छुट्टी

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पटना
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले खुद को एकजुट करने के स्पष्ट प्रयास के तहत बुधवार को 98 सदस्यीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी का गठन किया। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह द्वारा जारी की गई सूची में अनुमानित रूप से मुख्यमंत्री एवं पार्टी के सर्वोच्च नेता नीतीश कुमार का नाम सबसे ऊपर रखा गया है।

केसी त्यागी को मिला मुख्य प्रवक्ता का पद
ललन के अलावा सूची में अन्य प्रमुख नामों में अनुभवी समाजवादी के सी त्यागी शामिल हैं, जो मीडिया में पार्टी के सबसे अधिक दिखाई देने वाले चेहरों में से एक हैं। त्यागी के पास "विशेष सलाहकार और मुख्य प्रवक्ता का पद है। ललन जद (यू) के संसदीय दल के नेता भी हैं। राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश को छोड़कर संसद के दोनों सदनों में पार्टी के सभी सदस्यों और राज्य मंत्रिमंडल में जदयू के सभी मंत्रियों के भी नाम इस सूची में हैं। पार्टी के लोकसभा में बिहार से 16 सांसद हैं और राज्यसभा में हरिवंश सहित पांच सांसद हैं। लगभग 30 सदस्यीय राज्य मंत्रिमंडल में, मुख्यमंत्री के अलावा पार्टी के 12 मंत्री हैं। बिहार के नेता, जिनमें संसद और राज्य विधानमंडल के मौजूदा और पूर्व सदस्य और अन्य पदाधिकारी शामिल हैं, राष्ट्रीय कार्यकारिणी का हिस्सा तो हैं ही, राज्य के बाहर भी अपनी पकड़ बढ़ाने के इसमें स्पष्ट प्रयास किए गए हैं।

जदयू नेताओं को राष्ट्रीय कार्यकारिणी में मिला पर्याप्त प्रतिनिधित्व
उत्तर पूर्व के जदयू नेताओं को राष्ट्रीय कार्यकारिणी में पर्याप्त प्रतिनिधित्व दिया गया है। इनमें मणिपुर और नागालैंड के विधायक और असम, अरुणाचल प्रदेश और मेघालय की राज्य इकाइयों के प्रमुख शामिल हैं। उत्तर पूर्व में जद (यू) ने पूर्व सहयोगी भाजपा पर उसके अधिकांश विधायकों को तोड़ने का आरोप लगाया है। निकटवर्ती उत्तर प्रदेश, जहां से भाजपा को उसके सबसे बड़े गढ़ में चुनौती देने के लिए नीतीश के लोकसभा चुनाव लड़ने की अटकलें लगाई जाती रही हैं, का प्रतिनिधित्व जौनपुर के पूर्व सांसद और जदयू के राष्ट्रीय महासचिव धनंजय सिंह और प्रदेश अध्यक्ष सत्येन्द्र पटेल कर रहे हैं। सूची में शामिल किए गए सदस्यों में पार्टी के अन्य राज्य अध्यक्ष यथा पड़ोसी राज्य पश्चिम बंगाल और झारखंड के अलावा जम्मू-कश्मीर, पंजाब, केरल, तमिलनाडु, कर्नाटक और महाराष्ट्र जैसे कई दूर-दराज के प्रांतों से भी हैं।