नईदिल्ली
लोकसभा चुनाव को अब बमुश्किल 8 महीने ही बचे हैं। 2024 के चुनाव में किसकी सरकार बनेगी इसपर सबकी नजर है। मोदी सरकार जहां तीसरी बार सत्ता में आने का दावा कर चुकी है वहीं, विपक्षी पार्टियों के मेल से बना I.N.D.I.A गठबंधन भी जीत का सपना देख रहा है। इस नए गठबंधन में विशेषकर कांग्रेस जो 10 साल से सत्ता से बाहर है उसके लिए ये लड़ाई और खास है। हालांकि, मुख्य विपक्षी पार्टी के लिए चीजें इतनी भी आसान नहीं है। आजादी के बाद पहली बार देश की सबसे पुरानी पार्टी इतनी कमजोर हुई है। हालिया आए सर्वे भी उसकी उम्मीदों पर पानी फेरते दिख रहे हैं। ताजा ओपिनियन पोल में कांग्रेस अकेले भी बीजेपी का मुकाबला करती नहीं दिख रही है। ताजा पोल में एनडीए को 303 सीट मिलती दिख रही हैं जिसमें अकेले बीजेपी को 290 सीट मिलने का अनुमान है। वहीं नए गठबंधन I.N.D.I.A की साथी कांग्रेस को अकेले मात्र 66 सीट मिल सकती हैं। सीधा मतलब है कि अगर ये पोल 2024 में सही साबित हुआ तो कांग्रेस अकेले बीजेपी का भी मुकाबला नहीं कर पाएगी।
बीजेपी vs कांग्रेस में कौन आगे?
सर्वे के मुताबिक, NDA को 303 सीट मिलेंगी जबकि अकेले बीजेपी को 290 सीट जीत सकती है। यानी बीजेपी चाहे तो अकेले देश में सरकार चला सकती है। वहीं नए गठबंधन की बात करें तो कांग्रेस को इसका पार्ट बनकर कोई खास फायदा होता नहीं दिख रहा है। ओपिनियन पोल की मानें तो, I.N.D.I.A. को इस लोकसभा चुनाव में 543 में 175 सीट मिलती दिख रही हैं जिसमें कांग्रेस को मात्र 66 सीट मिल सकती हैं। पिछले साल के लोकसभा चुनाव की बात करें तो अकेले बीजेपी ने 303 सीटें जीती थीं वहीं कांग्रेस को तब भी मात्र 52 सीट ही नसीब हुई थी। 2024 के सर्वे में बीजेपी की सीट घटी हैं पर वह अकेले सरकार बनाने में सक्षम है। कांग्रेस की सीट 2024 में बढ़ती दिख रही हैं लेकिन वह अकेले सरकार बना लेगी ऐसा होता दिख नहीं रहा है।
2024 के चुनाव में किसे मिल सकती हैं कितनी सीटें?
2024 का चुना अंतिम में नंबर गेम पर आकर ही रुकेगा। ताजा सर्वे की मानें तो, बीजेपी को सबसे ज्यादा 290, कांग्रेस को 66, आम आदमी पार्टी को 10, टीएमसी को 29, बीजू जनता दल को 13, शिवसेना(शिंदे गुट) 2, शिवसेना(UBT) को 11, समाजवादी पार्टी को 4, बहुजन समाज पार्टी को 0, राष्ट्रीय जनता दल को 7, जनता दल यूनाइडेट को 7, डीएमके को 19, एआईएडीएमके को 8, एनसीपी(शरद गुट) को 4, एनसीपी(अजित गुट) को 2, वाईएसआर कांग्रेस को 18, टीडीपी को 7, लेफ्ट फ्रंट को 8, बीआरएस को 8 और बाकी अन्य निर्दलीय दलों को 30 सीटें मिलती दिख रही हैं।