भले ही आपकी उम्र 40 के आसपास हो, अपनी त्वचा की देखभाल करने में कभी भी देर नहीं करनी चाहिए। हार्मोनल परिवर्तन और अन्य कारकों के कारण उम्र बढ़ने के लक्षण अधिक प्रमुखता से दिखाई देने लगते हैं, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि वर्षों तक धूप से होने वाली क्षति, प्रदूषण, डिहाइड्रेशन और अनहेल्दी डाइट का भी स्किन पर बड़ा बुरा प्रभाव पड़ता है।
बढ़ती उम्र में स्किन पर ड्रायनेस बढ़ जाती है और वह अपनी इलास्टिसिटी खोने लग जाती है, इसलिए इसको अतिरिक्त देखभाल की आवश्यकता होती है। विशेषज्ञों का मानना है कि डार्क कलर की त्वचा में मेलेनिन का हाई लेवल होता है, जिस कारण भारतीय महिलाओं में अपने आप ही एक सुरक्षा की एक परत स्किन को कवर कर लेती है। मगर फिर भी उन्हें स्किन को हाइड्रेट, सनस्क्रीन लगाने और चेहरे को धूप से ढंकने जैसे बेसिक नियम अपनाने चाहिए।
ढेर सारा पानी पिएं और व्यायाम करें
चमकती त्वचा का राज़ हर रोज 8-12 गिलास पानी है, क्योंकि पानी शरीर से विषाक्त पदार्थों और अन्य हानिकारक रसायनों को बाहर निकालने में मदद करता है। इस उम्र में अपने शरीर को हिलाते डुलाते रहें। अपने रूटीन में सैर, जिम, एरोबिक्स, योग या कोई अन्य शारीरिक गतिविधि को शामिल करें।
पिगमेंटेशन दूर करने के लिए सनस्क्रीन लगाएं
यूवी किरणें सुबह 11 बजे से शाम 4 बजे के बीच सबसे अधिक होती हैं और त्वचा पर झाइयां, सनस्पॉट और चकत्ते जैसी अन्य समस्याएं पैदा कर सकती हैं। इन्हें रोकने के लिए, ऐसे सनस्क्रीन में निवेश करना एक अच्छा विचार है जो त्वचा के कालेपन और रंजकता से भी लड़ेगा। विशेषज्ञों का मानना है कि सनस्क्रीन का न्यूनतम SPF 30 होना चाहिए और इसे अपनी स्किन टाइप के अनुसार ही चुनना चाहिए।
खाने-पीने पर खूब दें ध्यान
इसके अलावा कोको, बीन्स, हरी सब्जियां, चुकंदर, गाजर, लाल पत्तागोभी, ब्लूबेरी, रसभरी, स्ट्रॉबेरी, चेरी जैसे एंटीऑक्सीडेंट खाद्य पदार्थ लेना भी एक अच्छा विचार है। विटामिन C और E जैसे एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर फलों का इस्तेमाल त्वचा के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं।
रेटिनोइड क्रीम या सीरम को चेहरे पर लगाएं
रेटिनोइड आधारित उत्पादों को लगाने से सबसे पहले अपने डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें। यह कोलेजन के उत्पादन को बढाता है। नियमित सफाई और एक्सफोलिएशन भी मृत कोशिकाओं को हटा देती है।
कुछ आदतों का पालन करने और उचित आहार लेने से उम्र बढ़ने के संकेतों को कम किया जा सकता है।