चेन्नई
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारियों ने 17 घंटे तक चली छापेमारी के बाद तमिलनाडु के ऊर्जी, उत्पाद एवं मद्यनिषेध मंत्री वी. सेंथिलबालाजी को धनशोधन के एक मामले में गिरफ्तार किया है। ईडी ने मंगलवार को छापे के बाद मंत्री को गिरफ्तार कर लिया और इसके बाद ईडी अधिकारी उन्हें पूछताछ के लिए अपने कार्यालय लेकर गए, जहां पर उन्होंने सीने में दर्द की शिकायत की। इसके बाद उन्हें इलाज के लिए ओमंदुरार सरकारी मल्टी-स्पेशियलिटी अस्पताल के गहन चिकित्सा कक्ष (आईसीयू) में भर्ती कराया गया।
सूत्रों ने बताया कि कई मंत्रियों और सत्तारूढ़ द्रविड़ मुन्नेत्र कषगम (द्रमुक) के विधायक और पार्टी के कार्यकर्ता उनकी स्वास्थ्य स्थिति के बारे में पूछताछ करने के लिए अस्पताल पहुंचे। प्राप्त रिपोर्टों के मुताबिक इलाज के बाद उन्हें आज बाद में रिमांड के लिए प्रधान सत्र न्यायालय के समक्ष पेश किए जाने की संभावना है। ईडी अधिकारी विस्तृत पूछताछ के लिए उन्हें नई दिल्ली लेकर जा सकते हैं। अस्पताल में बड़ी संख्या में पुलिस कर्मियों और सशस्त्र केंद्रीय बलों को तैनात किया गया है।
ईडी ने धन शोधन के मामले में डीसीएचएल के पूर्व प्रवर्तक को किया गिरफ्तार
प्रवर्तन निदेशालय ने डेक्कन क्रॉनिकल होल्डिंग्स लिमिटेड (डीसीएचएल) के पूर्व प्रवर्तक टी. वेंकटराम रेड्डी को कथित बैंक धोखाधड़ी मामले से जुड़े धनशोधन की जांच के सिलसिले में गिरफ्तार किया है।
आधिकारिक सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि रेड्डी को संघीय एजेंसी के हैदराबाद कार्यालय के अधिकारियों ने धनशोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत हिरासत में लिया।
एजेंसी के अनुसार, 2020 में इसकी जांच में पाया गया कि ''डीसीएचएल के तीन प्रवर्तकों पी. के. अय्यर, टी. वेंकटराम रेड्डी और टी. विनायकरवी रेड्डी ने साजिश रची तथा कंपनी के बही-खाते में हेरफेर कर मुनाफा-विज्ञापन राजस्व बढ़ाया और बैंकों तथा उसके शेयरधारकों को धोखा देने के लिए वर्षों तक एक अच्छी तस्वीर पेश करने के लिए कंपनी की वित्तीय देनदारियों को कम करके बताया गया।''
कंपनी उस समय कॉर्पोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया के तहत बताई गई थी।
एजेंसी के अनुसार, राष्ट्रीय कंपनी विधि अधिकरण (एनसीएलटी) द्वारा केवल 400 करोड़ रुपये की समाधान योजना को मंजूरी दी गई है। डीसीएचएल और उसके प्रवर्तकों द्वारा कुल 8,180 करोड़ रुपये की ऋण धोखाधड़ी किए जाने का अनुमान है।
ईडी ने कथित बैंक ऋण चूक की जांच के लिए दर्ज केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की प्राथमिकी पर गौर करने के बाद 2015 में कंपनी और उसके प्रवर्तकों के खिलाफ पीएमएलए के तहत मामला दर्ज किया था।
सरकार प्रतिशोध की राजनीति कर रही, विपक्षी दल नहीं झुकेंगे : खरगे
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने तमिलनाडु के बिजली मंत्री वी सेंथिल बालाजी को गिरफ्तार करने के प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के कदम को सरकार द्वारा उत्पीड़न और प्रतिशोध की राजनीति करार देते हुए बुधवार को कहा कि विपक्षी दल ऐसी कार्रवाइयों के आगे झुकने वाले नहीं हैं।
खरगे ने एक बयान में कहा, "यह (बालाजी के खिलाफ कार्रवाई) कुछ और नहीं, बल्कि मोदी सरकार द्वारा उन लोगों के खिलाफ राजनीतिक उत्पीड़न और प्रतिशोध की कार्रवाई है, जो उसका विरोध करते हैं।"
कांग्रेस अध्यक्ष ने जोर देकर कहा, "विपक्ष में कोई भी ऐसे कदमों के सामने झुकने वाला नहीं है।"
गौरतलब है कि ईडी ने धनशोधन के एक मामले की जांच के तहत मंगलवार को तमिलनाडु के बिजली मंत्री वी सेंथिल बालाजी और कुछ अन्य लोगों के परिसरों पर छापे मारे। बाद में बालाजी को गिरफ्तार कर लिया गया।