नई दिल्ली
राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) लंदन में पिछले महीने भारतीय उच्च आयोग में तोड़फोड़ की कोशिश और प्रदर्शन के मामले की जांच करेगा। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
दिल्ली पुलिस के विशेष प्रकोष्ठ द्वारा दर्ज मामले को अब एनआईए संभालेगी। विशेष प्रकोष्ठ ने गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान की रोकथाम अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया था क्योंकि इस घटना में कथित तौर पर भारतीय नागरिकता रखने वाले कुछ लोग भी शामिल थे।
अधिकारियों के अनुसार, एनआईए को 2019 में आतंकवाद रोधी जांच संगठन को नियंत्रित करने वाले कानून में संशोधन के बाद विदेशी जमीन पर होने वाले किसी भी आतंकवादी कृत्य की जांच करने का अधिकार मिला।
गौरतलब है कि 19 मार्च को खालिस्तानी समर्थकों ने लंदन में भारतीय उच्चायोग में तोड़फोड़ करने और परिसर में लगे भारतीय तिरंगे को हटाने की कोशिश की थी। पंजाब पुलिस द्वारा पंजाब में अलगाववादी नेता अमृतपाल सिंह के खिलाफ कार्रवाई शुरू करने के एक दिन यह घटना हुई थी।
गृह मंत्रालय की आतंकवाद रोधी एवं कट्टरपंथी रोधी इकाई ने इस मामले को एनआईए को सौंपा था। केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला की पिछले सप्ताह ब्रिटिश सरकार के प्रतिनिधियों के साथ हुई बैठक के बाद यह निर्णय किया गया।
लंदन में प्रदर्शनकारियों के एक समूह ने खालिस्तानी झंडे लहराते हुए उच्चायोग पर फहरा रहे भारतीय तिरंगे को हटाने का प्रयास किया। अधिकारियों ने बताया था कि प्रदर्शनकारियों के प्रयासों को नाकाम कर दिया गया।
भारत ने इस घटना के बाद नई दिल्ली में ब्रिटेन के उप उच्चायुक्त को तलब किया था और ‘‘सुरक्षा चूक’’ पर स्पष्टीकरण मांगा था।
राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) लंदन में पिछले महीने भारतीय उच्च आयोग में तोड़फोड़ की कोशिश और प्रदर्शन के मामले की जांच करेगा। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
दिल्ली पुलिस के विशेष प्रकोष्ठ द्वारा दर्ज मामले को अब एनआईए संभालेगी। विशेष प्रकोष्ठ ने गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान की रोकथाम अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया था क्योंकि इस घटना में कथित तौर पर भारतीय नागरिकता रखने वाले कुछ लोग भी शामिल थे।
अधिकारियों के अनुसार, एनआईए को 2019 में आतंकवाद रोधी जांच संगठन को नियंत्रित करने वाले कानून में संशोधन के बाद विदेशी जमीन पर होने वाले किसी भी आतंकवादी कृत्य की जांच करने का अधिकार मिला।
गौरतलब है कि 19 मार्च को खालिस्तानी समर्थकों ने लंदन में भारतीय उच्चायोग में तोड़फोड़ करने और परिसर में लगे भारतीय तिरंगे को हटाने की कोशिश की थी। पंजाब पुलिस द्वारा पंजाब में अलगाववादी नेता अमृतपाल सिंह के खिलाफ कार्रवाई शुरू करने के एक दिन यह घटना हुई थी।
गृह मंत्रालय की आतंकवाद रोधी एवं कट्टरपंथी रोधी इकाई ने इस मामले को एनआईए को सौंपा था। केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला की पिछले सप्ताह ब्रिटिश सरकार के प्रतिनिधियों के साथ हुई बैठक के बाद यह निर्णय किया गया।
लंदन में प्रदर्शनकारियों के एक समूह ने खालिस्तानी झंडे लहराते हुए उच्चायोग पर फहरा रहे भारतीय तिरंगे को हटाने का प्रयास किया। अधिकारियों ने बताया था कि प्रदर्शनकारियों के प्रयासों को नाकाम कर दिया गया।
भारत ने इस घटना के बाद नई दिल्ली में ब्रिटेन के उप उच्चायुक्त को तलब किया था और ‘‘सुरक्षा चूक’’ पर स्पष्टीकरण मांगा था।