रोहतक
हरियाणा में बीते कई दिनों से भाजपा सरकार के अल्पमत होने का सवाल उठा रहे जननायक जनता पार्टी के नेता दुष्यंत चौटाला के लिए खुद ही मुश्किल खड़ी हो गई है। चौटाला ने तीन निर्दलीय विधायकों के भाजपा सरकार से समर्थन वापस लेने के बाद फ्लोर टेस्ट की मांग की थी और राज्यपाल को पत्र भी लिखा था। इस बीच उनके ही दल के तीन विधायक मनोहर लाल खट्टर के पास चले गए। यही नहीं देवेंदर सिंह बबली ने तो यह भी कहा कि हम पार्टी पर दावा करेंगे और दुष्यंत चौटाला को विधायक दल के नेता के पद से हटा देंगे। इस बीच मनोहर लाल खट्टर के एक दावे ने और बड़े संकट की ओर इशारा किया है।
मनोहर लाल खट्टर ने जेजेपी के नेता देवेंदर सिंह बबली, रामनिवास सुरजाखेरा और जोगी राम सिहाग से मुलाकात की थी। यह मीटिंग राज्य के मंत्री महीपाल ढांढा के आवास पर हुई थी। इस मीटिंग के बाद ही तीनों ने भाजपा को खुला समर्थन देने का ऐलान किया था। अब खट्टर का कहना है कि कुल 6 विधायक हमारे संपर्क में है। ऐसा होता है तो फिर जेजेपी पर ही संकट होगा और खुद दुष्यंत चौटाला अपनी ही बनाई पार्टी से बेदखल होते हैं। पार्टी पर दावे के लिए दो तिहाई से ज्यादा विधायकों की जरूरत होती है। यदि 7 विधायक बागी हो गए तो फिर दुष्यंत चौटाला को पार्टी के विधायक दल के नेता का भी पद खोना होगा। इसके अलावा पार्टी के भी वह मुखिया नहीं रह जाएंगे।
जेजेपी विधायकों से सीक्रेट मीटिंग के सवाल पर खट्टर ने कहा, 'आप लोग अच्छे से जानते हैं। हमारे समर्थन में कई विधायक हैं। लेकिन हम पूरे भरोसे के साथ कह सकते हैं कि जेजेपी के 6 विधायक तो हमारे ही हैं।' शनिवार को कांग्रेस के प्रभारी दीपक बाबरिया ने कहा कि भाजपा को अपने विधायकों को गवर्नर बंडारू दत्तात्रेय के सामने पेश करना चाहिए। इस पर खट्टर ने कहा कि विपक्ष सरकार को खतरे में बता रहा है। ऐसी स्थिति में तो उसे खुद ही अपने विधायकों को पेश करना चाहिए।
पूर्व सीएम ने कहा, 'कांग्रेस अब अपने विधायकों की लिस्ट पेश करने से भाग रही है। उन्हें परेशान होना चाहिए क्योंकि 31 में से 4 या 5 विधायक उनके छिटक सकते हैं। आपने देख ही लिया कि जेजेपी के साथ क्या हुआ। अब वह फंस गए हैं। उन्हें यह मसला नहीं उठाना चाहिए था। अब तो हम कहेंगे कि आप अपने विधायकों की परेड करा लीजिए। यदि आपके नंबर ज्यादा होंगे तो फिर फ्लोर टेस्ट करा लेंगे। 13 मार्च ही नई सरकार ने विश्वास मत हासिल किया है। ऐसे में 6 महीने पूरे होने से पहले ही फिर से ऐसा करना ठीक नहीं होगा।'
जेजेपी विधायकों से सीक्रेट मीटिंग के सवाल पर खट्टर ने कहा, 'आप लोग अच्छे से जानते हैं। हमारे समर्थन में कई विधायक हैं। लेकिन हम पूरे भरोसे के साथ कह सकते हैं कि जेजेपी के 6 विधायक तो हमारे ही हैं।' शनिवार को कांग्रेस के प्रभारी दीपक बाबरिया ने कहा कि भाजपा को अपने विधायकों को गवर्नर बंडारू दत्तात्रेय के सामने पेश करना चाहिए। इस पर खट्टर ने कहा कि विपक्ष सरकार को खतरे में बता रहा है। ऐसी स्थिति में तो उसे खुद ही अपने विधायकों को पेश करना चाहिए।
पूर्व सीएम ने कहा, 'कांग्रेस अब अपने विधायकों की लिस्ट पेश करने से भाग रही है। उन्हें परेशान होना चाहिए क्योंकि 31 में से 4 या 5 विधायक उनके छिटक सकते हैं। आपने देख ही लिया कि जेजेपी के साथ क्या हुआ। अब वह फंस गए हैं। उन्हें यह मसला नहीं उठाना चाहिए था। अब तो हम कहेंगे कि आप अपने विधायकों की परेड करा लीजिए। यदि आपके नंबर ज्यादा होंगे तो फिर फ्लोर टेस्ट करा लेंगे। 13 मार्च ही नई सरकार ने विश्वास मत हासिल किया है। ऐसे में 6 महीने पूरे होने से पहले ही फिर से ऐसा करना ठीक नहीं होगा।'