यादगिर
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने बुधवार को कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री एच डी देवेगौड़ा ने अपने पोते प्रज्वल रेवन्ना को विदेश भगा दिया। रायचूर लोकसभा सीट के लिए कांग्रेस उम्मीदवार जी. कुमार नाइक के लिए वोट मांगते हुए यादगीर में पत्रकारों से बात करते हुए सीएम ने कहा कि मामला सामने आने के बाद देवेगौड़ा ने देश से बाहर जाने की योजना बनाई थी। सीएम सिद्धारमैया ने उन आरोपों का भी खंडन किया जिसमें कहा जा रहा था कि डिप्टी सीएम और कर्नाटक कांग्रेस अध्यक्ष डी.के. शिवकुमार भी इसमें शामिल थे। क्योंकि वही इस मामले को उजागर करने वाले सबसे पहले व्यक्ति थे।
सीएम सिद्धारमैया ने कहा कि प्रज्वल रेवन्ना का कार्तिक नाम का एक कार ड्राइवर था। कार्तिक ने खुद दावा किया था कि उन्होंने पेन ड्राइव एक बीजेपी नेता को दी थी। ऐसे में पूर्व सीएम एच.डी. कुमारस्वामी राजनीतिक कारणों से शिवकुमार पर आरोप लगा रहे हैं। सीएम ने कहा कि प्रज्वल को टिकट क्यों दिया गया, जबकि उनके बारे में सब कुछ पता था। मामले की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया है। एसआईटी अधिकारी मामले की पारदर्शी तरीके से जांच करेंगे। किसी को बचाने का कोई सवाल ही नहीं है।
उन्होंने आगे कहा कि महिला एवं बाल कल्याण मंत्री लक्ष्मी हेब्बालकर ने आरोप लगाया था कि प्रज्वल रेवन्ना ने 300 से 400 महिलाओं के खिलाफ क्रूरता बरती है। पीड़ितों की उम्र 16 साल से 50 साल के बीच है। आरोपी एक विकृत यौन अपराधी है।
एसआईटी ने मंगलवार 30 अप्रैल को प्रज्वल रेवन्ना को 24 घंटे के भीतर एजेंसी के सामने पेश होने का नोटिस जारी किया है। राज्य के गृह मंत्री डॉ. जी. परमेश्वर ने कहा कि नोटिस सीआरपीसी धारा 41ए के तहत जारी किया गया है और प्रावधान के अनुसार, आरोपी को 24 घंटे के भीतर उपस्थित होना होगा। अन्यथा अधिकारी आगे की कार्रवाई शुरू करेंगे। सूत्रों के मुताबिक, प्रज्वल के शुक्रवार को बेंगलुरु पहुंचने की उम्मीद है और एसआईटी उन्हें हिरासत में ले सकती है।