चेन्नई
आगामी लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस तमिलनाडु में एआईएडीएमके के साथ हाथ मिला सकती है। डीएमके से कांग्रेस ने 9 सीटों की मांग की थी लेकिन डीएमके महज 7 सीटें ही दे रही है। तमिलनाडु में कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने आईएएनएस को बताया कि कांग्रेस का स्थानीय नेतृत्व एआईएडीएमके के साथ हाथ मिलाने के लिए तैयार है।
कांग्रेस नेता ने कहा कि हम आगामी लोकसभा चुनाव में ज्यादा से ज्यादा सीटें जीतना चाहते हैं। एआईएडीएमके हमें 16 सीटें देना चाहती है, तो हम क्यों नहीं उनके साथ गठबंधन करें। कांग्रेस के सूत्रों ने आईएएनएस को बताया कि एआईएडीएमके और कांग्रेस एक-दूसरे के हाथ मिलाने के लिए तैयार है। एआईएडीएमके कांग्रेस को 16 सीटें देने का मन बना चुकी है।
सूत्रों ने बताया कि डीएमके द्वारा ज्यादा सीटें नहीं दिए जाने के बाद कांग्रेस ने अपमानित महसूस किया। स्थानीय कांग्रेस के नेताओं का कहना है कि पार्टी एआईएडीएमके के साथ अच्छा तालमेल स्थापित कर सकती है और इसके अलावा ज्यादा से ज्यादा सीटें जीतने की अपनी इच्छा को भी मूर्त रूप दे सकती है। हालांकि, अभी तक कांग्रेस ने इसे लेकर एआईएडीएमके को किसी भी प्रकार की हरी झंडी नहीं दी है।
कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने आईएएनएस को बताया कि कांग्रेस डीएमके के साथ ही गठबंधन करेगी। वेणुगोपाल ने आगे कहा कि हम सीट शेयरिंग को लेकर डीएमके नेतृत्व के साथ बातचीत कर रहे हैं और हम डीएमके के साथ अपना गठबंधन जारी रखेंगे।
2019 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस ने तमिलनाडु की 9 में से आठ सीटों पर जीत हासिल की थी। कांग्रेस को थानी सीट पर हार का सामना करना पड़ा था, जहां ओ.पी. रवीन्द्रनाथन ने वरिष्ठ कांग्रेस नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री ई.वी.के.एस. इलांगोवन को हराया था। एआईएडीएमके ने 2019 के लोकसभा से लेकर 2021 के विधानसभा चुनाव तक एनडीए के साथ गठबंधन किया। सितंबर 2023 में एआईएडीएमके ने बीजेपी के नेतृत्व वाली एनडीए से नाता तोड़कर अपना खुद का गठबंधन बनाने का ऐलान किया था। 2019 के आम चुनावों में एआईएडीएमके को कुल वोटों का लगभग 33 प्रतिशत मिले थे।