Home हेल्थ आयुर्वेद डॉ. के सुझाव: आंतों के कैंसर से बचने के तरीके

आयुर्वेद डॉ. के सुझाव: आंतों के कैंसर से बचने के तरीके

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 आंत का कैंसर, जिसे कोलोरेक्टल कैंसर भी कहा जाता है, तब विकसित होता है जब बड़ी आंत की दीवार में कोशिकाएं असामान्य और अनियंत्रित तरीके से बढ़ने लगती हैं. आंत का कैंसर बड़ी आंत में कहीं भी हो सकता है, जिसमें बड़ी आंत, मलाशय और गुदा शामिल हैं. रेक्टल और कॉलन इसी का एक हिस्सा होता है.  

यह कैंसर पुरुषों और महिलाओं दोनों को प्रभावित करता है और किसी भी उम्र में हो सकता है, लेकिन जैसे-जैसे आपकी उम्र बढ़ती है इसका जोखिम बढ़ जाता है. कई स्टडी में आंत के कैंसर को ओरल हाइजीन से संबंधित बताया गया है, ऐसे में इसे मेंटेन रखकर इस जानलेवा बीमारी से बचाव किया जा सकता है. हाल ही में इंस्टाग्राम पर आयुर्वेदा डॉ वैशाली शुक्ला ने इससे बचाव के लिए कुछ आसान से सुझाव भी दिए है, जो आपके लिए बहुत कारगर साबित हो सकता है. 

ऑयल पुलिंग

ऑयल पुलिंग सेहत के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है. इससे आंतों में होने वाले रेक्टल और कॉलन कैंसर से भी बचाव किया जा सकता है. ऐसे में आयुर्वेद एक्सपर्ट एक बड़ा चम्मच कोल्ड प्रेस्ड तिल के तेल से ऑयल पुलिंग करने की सलाह देती हैं. इसके लिए तेल को मुंह में रखें इसे 5-10 मिनट तक दांतों के चारों घुमाएं और कुल्ला कर दें.

दांत ब्रश करना 

यदि आपको आंतों के कैंसर से बचना है तो नीम, खादिर, लौंग से युक्त कड़वे कसैले हर्बल टूथपेस्ट का उपयोग करें. एक्सपर्ट बताती हैं कि ऐसे टूथपेस्ट  दांतों को बेहतर ढंग से साफ करते हैं और ओरल हाइजीन को बेहतर बनाएं रखते हैं.

जीभ को साफ करना

यदि आप ब्रश करने के बाद अपनी जीभ को साफ नहीं करते हैं तो यह आपकी आंतों में कैंसर का कारण बन सकता है. ऐसे इससे बचाव के लिए हेल्थ एक्सपर्ट ब्रश करने के बाद दिन में दो जीभ को साफ करने की सलाह देती हैं. ऐसा करने से मुंह में मौजूद मृत कोशिका और खराब बैक्टीरिया खत्म हो जाते हैं.