Home मध्यप्रदेश विधानसभा में पेयजल, टोल वसूली और पीएम आवास के सवाल

विधानसभा में पेयजल, टोल वसूली और पीएम आवास के सवाल

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 भोपाल

विधानसभा में नगरीय विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि बालाघाट नगर पालिका में नल जल योजना में कोई गड़बड़ी मिली तो ठेकेदार का भुगतान रोक दिया जाएगा। दरअसल इस संबंध में यहां की विधायक अनुभा मुंजारे ने सवाल किया था कि यहां पर नल जल योजना में घटिया काम किया जा रहा है, पाईप ऊपर बिछा दिए गए हैं, जिससे पाईप लाइन क्षतिग्रस्त होती रहती है।

इसमें 16 हजार कनेक्शन हुए, सभी से ढाई-ढाई हजार रुपए लिए गए, इनमें से 6 हजार लोग परेशान हो रहे हैं।  इस सवाल पर सदन के अंदर मंत्री विजयवर्गीय ने कहा कि इस कार्य के दस चरण थे, जिसमें से 9 पूरे हो चुके हैं। अब दसवां चरण चल रहा है, जिसमें कनेक्शन दिए जा रहे हैं। इसमें दस हजार कनेक्शन हो चुके हैं। इस पर विधायक ने आरोप लगाया कि अफसर गलत जानकारी दे रहे हैं। मंत्री ने कहा कि कलेक्टर ने जांच की थी, जिसमें गड़बड़ी नहीं पाई गई। इसके बाद भी संचालनालय से टीम भेज कर जांच करवा ली जाएगी। यदि गड़बड़ी हुई तो ठेकेदार को बचा हुआ भुगतान रोक देंगे।

सड़कें ऐसी कि लगता है ऊंट पर बैठकर जा रहे हैं: झूमा सोलंकी
विधायक झूमा सोलंकी ने कहा, मेरे क्षेत्र की सड़कें ऐसी हैं कि लगता है कार में बैठकर नहीं ऊंट पर बैठकर जा रहे हैं। पीडब्ल्यूडी मंत्री राकेश सिंह ने कहा कि यदि कहीं पर रिपेयरिंग बाकी होगा तो उसे कराया जाएगा। वहीं कांग्रेस विधायक निर्मला सप्रे के बीना में रिंग रोड और प्लाई ओवर को लेकर प्रश्न किया। जिस पर लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह ने बताया कि शहर में 5 आरओबी प्रस्तावित है, जो 128 करोड़ की लागत से बन रहे हैं। इनमें से तीन आरओबी का काम अंतिम दौर में हैं। दो पर काम चल रहा है। दोनों का काम 16 महीने के पूरा हो जाएगा। इससे शहर में यातायात सुगम होगा।

नेता प्रतिपक्ष ने शून्यकाल के समय पर उठाया सवाल
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने प्रश्न काल के तुरंत बाद शून्यकाल का समय रखने का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि सबसे अंत में शून्यकाल आने पर सभी सदस्य अपनी बात नहीं रख पाते और मंत्री भी सही जवाब नहीं देते। इस पर स्पीकर नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि सबकी सहमत से फैसला लिया था।

मैंने अफसरों से कहा कि जवाब तो देना है: विजयवर्गीय
रामश्री भारती ने सवाल करते हुए कहा कि वे मंत्री के जवाब से संतुष्ट नहीं हैं। उन्होंने बड़ामल्हरा में निर्माण कार्यो की गुणवत्ता और निर्माण कर्यो के पूर्णता प्रमाण पत्र को लेकर सवाल किया था। जिस पर मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि हमने सभी बिंदुओं के उत्तर दिए हैं। प्रश्न बड़ा था इसलिए इसका उत्तर भी बड़ा आया है। अफसर तो कह रहे थे कि अभी जवाब नहीं दें, लेकिन मैंने कहा कि पहली बार की विधायक हैं, जवाब उन्हें मिलना चाहिए। विधायक रामश्री भारती ने कहा कि वे अफसरों ने गलत जानकारी दी है। इस मामले में राज्य स्तरीय कमेटी बनाई जाए और जांच करवाई जाए। इस पर विधानसभा अध्यक्ष ने विधायक से कहा कि आप मंत्री से मिल कर उन्हें बता दीजिए।

सरकार जनता के लिए या ठेकेदार के लिए: टोल पर हो चुकी तीन से चार गुना वसूली
कांग्रेस विधायक पंकज उपाध्याय ने सवाल करते हुए कहा कि टोल पर तीन से चार गुना तक वसूली हो चुकी है। सरकार जनता के लिए है या ठेकेदार के लिए है। इन सड़कों पर पिछले तीन साल में सात हजार की मौत हो चुकी है। ऐसे में ठेकेदार के खिलाफ क्या कार्रवाई की जाएगी। इस सवाल पर मंत्री राकेश सिंह ने सदन में कहा कि टोल पीपीपी मोड पर होते हैं। यह एक परियोजना है। जिसमें ठेकेदार को कर्ज भी चुकाना होता है, उस पर ब्याज भी देना होता है। सड़का रखरखाव भी करना होता है। मंत्री ने कहा कि टोल पर अवैध वसूली नहीं हो रही है। मंत्री ने कहा कि सड़क हादसों में होने वाली मौत में ठेकेदार का कोई लेना देना नहीं होता है। उन्होंने कहा कि हाईवे पर मदद लेने के लिए 1098 टोल फ्री नंबर पर जिस पर काल कर सहायता ली जा सकती है। वहीं इसी सवाल पर कांग्रेस विधायक दिनेश गुर्जर ने कहा कि मुरैना का टोल शहर के अंदर आ गया है। बाजू वाली सड़क पर भी टोल वाले वसूली कर रहे हैं। किसानों को परेशान होना पड़ रहा है।

अपात्रों को दे दिए पीएम आवास
इधर ललिता यादव ने सवाल करते हुए कहा कि छतरपुर नगर पालिका क्षेत्र में अपात्रों को प्रधानमंत्री आवास दे दिए गए। इसकी जांच करवाई जाए। जिस पर मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि यहां पर 21 अपात्र चिन्हित हुए थे, लेकिन उन्हें आवास आवंटित नहीं किए गए। वहीं सागर विधायक शैलेंद्र जैन ने कहा कि सागर शहर में जिन्हें प्रधानमंत्री आवास दिए गए हैं उनमें से 1500 परिवार ट्रेस ही नहीं हो रहे, तो इनकी जगह पर अन्य पात्र लोगों को यह आवास आवंटित कर दिए जाए। इस पर मंत्री विजयवर्गीय ने कहा कि इस पर एक पत्र दे दीजिए, इस पर विचार कर लिया जाएगा कि क्या किया जा सकता है।