नईदिल्ली
लोकसभा चुनाव से पहले चंदा इकट्ठा करने के लिए कांग्रेस क्राउंड फंडिंग अभियान में जोरशोर से जुटी हुई है. लेकिन पार्टी को उम्मीदों के मुताबिक रिजल्ट मिलता नहीं दिख रहा है. पिछले दो हफ्तों से जारी इस कैंपेन में कांग्रेस अब तक महज 11 करोड़ रुपए ही जुटा पाई है. सूत्रों के मुताबिक क्राउड फंडिंग अभियान में आई इस मंदी से कांग्रेस का शीर्ष नेतृत्व खुश नहीं है. कम चंदा इकट्ठा होने के कारण आलाकमान की तरफ से नाराजगी भी व्यक्त की गई है. इतना ही नहीं नेताओं से कोशिशें तेज करने के लिए भी कहा गया है.
सूत्रों के मुताबिक पार्टी प्रमुख मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी के अलावा प्रियंका गांधी वाड्रा सहित शीर्ष कांग्रेस नेतृत्व ने नेताओं से कहा है कि दो सप्ताह में 11 करोड़ रुपये की कमाई उत्साहजनक नहीं है. कार्यकर्ताओं को अधिक पैसे इकट्ठा करने के प्रयास तेज करने चाहिए. सूत्रों ने बताया कि AICC कोषाध्यक्ष अजय माकन को प्रयासों में तेजी लाने और अभियान को तेज करने के लिए राज्यों का दौरा करने और पार्टी के लिए अधिक धन जुटाने के लिए राज्य इकाइयों के साथ बातचीत करने के लिए कहा गया था. उन्होंने कहा कि पार्टी नेतृत्व ने 14 जनवरी से शुरू हो रही भारत जोड़ो न्याय यात्रा के लिए अलग से धन जुटाने का फैसला किया है.
लोकसभा चुनाव से पहले शुरू किया कैंपेन
कांग्रेस ने 2024 के लोकसभा चुनावों से पहले संसाधन जुटाने के लिए 18 दिसंबर को क्राउडफंडिंग अभियान 'डोनेट फॉर देश' शुरू किया था. इस दौरान कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने 1.38 लाख रुपये का चंदा देकर पार्टी के ऑनलाइन क्राउडफंडिंग कार्यक्रम की शुरुआत की थी. कैंपेन लॉन्च करते समय मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा था कि पहली बार कांग्रेस लोगों से देश के लिए चंदा मांग रही है.
मीटिंग में 255 सीटों पर करने का निर्देश
हाल ही में हुई सीएलपी नेताओं, राज्यों के महासचिवों, प्रभारियों और राज्य इकाई प्रमुखों की बैठक में तीन घंटे से अधिक की चर्चा के दौरान करीब 255 सीटों पर पूरी ताकत से ध्यान केंद्रित करने के लिए कहा गया है. सभी को बताया कि ये सीटें जीतने योग्य हैं. पार्टी लोकसभा चुनाव के लिए अपने उम्मीदवारों की पहली सूची जल्द ही घोषित कर सकती है. पार्टी इस सप्ताह अभ्यास के हिस्से के रूप में प्रत्येक राज्य के लिए स्क्रीनिंग समितियां भी बनाएगी.
राहुल ने पूछा- यात्रा से जुड़ना चाहते हैं?
खड़गे ने बैठक में कहा कि भारत जोड़ो यात्रा के माध्यम से होने वाले फायदे को मणिपुर से मुंबई तक दूसरी यात्रा के माध्यम से और समेकित किया जाना चाहिए. इसे भारत जोड़ो न्याय यात्रा का नाम दिया जाना चाहिए. ऐसा तब हुआ जब राहुल गांधी ने बैठक में पार्टी नेताओं से राय मांगी कि क्या वे इस यात्रा के हिस्से के रूप में भारत जोड़ो चाहते हैं, जिसे पहले 'भारत न्याय यात्रा' नाम दिया गया था. इस मीटिंग में खड़गे ने नेताओं से कहा कि वे संवेदनशील मुद्दों पर ज्यादा ध्यान ना दें.