नई दिल्ली
दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को गणतंत्र दिवस से पहले बड़ी कामयाबी मिली है। स्पेशल सेल ने जम्मू कश्मीर के मोस्ट वांटेड हिजबुल मुजाहिद्दीन के आतंकी जावेद अहमद मट्टू को गिरफ्तार किया है। उसे निजामुद्दीन के पास डीएनडी से उसे समय पकड़ा गया, जब वह हथियारों की खेप लेने दिल्ली आया था। जम्मू कश्मीर पुलिस ने जावेद पर 10 लाख रुपये का इनाम रखा हुआ था। ये जम्मू कश्मीर में वर्ष 2010-11 से आतंकी वारदात को अंजाम दे रहा था। दिल्ली पुलिस उसे कई महीनों से तलाश कर रही थी। स्पेशल सेल इस बात की जांच कर रही है कि आतंकी दिल्ली किसी वारदात के लिए तो नहीं आया था। जावेद मट्टू ए++ का आतंकी है। इसके भाई रहीस मट्टू ने स्वतंत्रता दिवस पर तिरंगा फहराया था।
स्पेशल सेल के विशेष पुलिस उपायुक्त एचजीएस धालीवाल ने बताया कि एसीपी ललित मोहन नेगी को कुछ दिन पहले सूचना मिली थी कि प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन हिजबुल मुजाहिदीन से जुड़ा जम्मू-कश्मीर का एक बड़ा वांछित आतंकवादी हथियार और गोला बारूद की खेप लेने दिल्ली-एनसीआर आएगा। सूचना पर स्लीपर सेल और हथियार सप्लायरों पर नजर रखी गई और खुफिया तंत्र को सक्रिय किया गया। केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों की सहायता ली गई। इसके बाद 4 जनवरी को विशेष सूचना मिली कि हिजबुल मुजाहिदीन का वांछित आतंकवादी ए++ श्रेणी का सोपोर जेएंडके निवासी जावेद अहमद मट्टू अपने सहयोगियों से हथियार और गोला बारूद लेने दिल्ली आएगा।
ये पाकिस्तान खुफिया एजेंसी आईएसआई के इशारे पर दिल्ली में हथियार लेने आया। इस हथियारों से वह अपने पाकिस्तान स्थित हैंडलर के निर्देश पर जम्मू-कश्मीर और अन्य स्थानों पर कुछ आतंकी हमलों को अंजाम देगा। एसीपी ललित मोहन नेगी के नेतृत्व में इंस्पेक्टर अमित नारा आदि की टीम ने घेराबंदी कर निजामुद्दीन के पास डीएनडी से जावेद मट़्टू को गिरफ्तार कर लिया। इंस्पेक्टर अमित नारा की टीम ने इसके पास से 9 एमएम की एक स्टार पिस्टल, छह कारतूस, एक अतिरिक्त मैगजीन और चोरी की कार बरामद की। इस संबंध में पीएस स्पेशल सेल में उचित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। हालांकि दिल्ली में अभी इसके खिलाफ मामला दर्ज होने की बात सामने नहीं आई है।
खूंखार आतंकी है मट्टू
बारामूला के सोपोर के कुशल मट्टू निवासी जावेद अहमद मट्टू उर्फ इरसाद अहमद मल्ला उर्फ एहसान ने कॉलेज में पढ़ाई छोड़ दी थी। ये उत्तरी कश्मीर, विशेषकर सोपोर, जम्मू-कश्मीर के इलाके में सक्रिय हिजबुल मुजाहिदीन के सात खूंखार आतंकवादियों के गिरोह का सरगना है। वह पिछले 13 वर्षों से अपनी पकड़ से बचता रहा है। सुरक्षा बलों के साथ गोलीबारी में घायल होने के बाद वह भूमिगत हो गया था और पाक आईएसआई के निर्देश पर नेपाल भाग गया, क्योंकि जम्मू-कश्मीर पुलिस उसका पीछा कर रही थी। इसके पैर में गोली लगी थी। इसके बाद इसने आतंकी वारदात कम कर दी थीं।
इन आतंकी वारदातों में शामिल रहा
जावेद जम्मू-कश्मीर में 11 ज्ञात आतंकवादी हमलों में वांछित था और उस पर 10 लाख से अधिक का इनाम था। वह जम्मू-कश्मीर में पांच ग्रेनेड हमलों में शामिल रहा है। साथ ही पांच पुलिस कर्मियों की हत्या और कई पुलिस कर्मियों और आम नागरिकों को घायल करने में भी शामिल था। जावेद सोपोर में एक आईईडी विस्फोट में भी शामिल रहा है।
ये हैं इसके गिरोह के आतंकी
-जम्मू-कश्मीर के सोपोर के निवासी अब्दुल माजिद जारगर उर्फ शाहीन वर्तमान में पाकिस्तान में है। ये वर्तमान में जावेद मट्टू सहित पाकिस्तान से अन्य हिज्बुल मुजाहिदीन कैडरों को संभाल रहा है। अब्दुल माजिद आतंकी गतिविधियों में शामिल होने के अलावा वित्त और रसद का प्रबंधन भी करता। ये सीमा पार से आईएसआई संचालकों से हथियार भी खरीदता।
-सोपोर निवासी अब्दुल कय्यूम नजऱ पाक प्रशिक्षित आतंकवादी था। वह सात लोगों के इस गिरोह का परिचालन प्रभारी था। ये सुरक्षा बलों के साथ गोलीबारी में मारा जा चुका है।
-जम्मू-कश्मीर के हंदवाड़ा के निवासीतारिक अहमद लोन पाक प्रशिक्षित आतंकवादी था। सुरक्षा बलों द्वारा घेर लिए जाने पर वह नदी में कूद गया था। इसकी डूबने से मौत हो गई।
-सोपोर, जम्मू-कश्मीर के निवासी इम्तियाज कुंडू पाक प्रशिक्षित आतंकवादी है। ये 2015-16 में पाकिस्तान भाग गया और वर्तमान में शाहीन के साथ काम कर रहा है।
-सोपोर, जम्मू-कश्मीर के निवासी मेहराज हलवाई पाक प्रशिक्षित आतंकवादी था। इसे सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ में मार गिराया था।
-जागीर, सोपोर, जम्मू-कश्मीर का निवासी वसीम गुरु सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में मारा जा चुका है।