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सभी जिलों में एक जनवरी से शुरू होंगी सायबर तहसील

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भोपाल

प्रदेश के बारह जिलों में चल रही सायबर तहसील व्यवस्था एक जनवरी 2024 से प्रदेश के सभी 55 जिलों में लागू की जाएगी। इस व्यवस्था के शुरू होने के बाद जमीनें खरीदने के बाद आम नागरिकों को नामांतरण कराने, खसरे, नक्शे में संशोधन कराने के लिए अलग-अलग आवेदन देने की जरुरत नहीं होगी। रजिस्ट्री होते ही यह सारी कार्यवाही स्वयमेव पूरी हो जाएगी।

पूरे प्रदेश में सायबर तहसील व्यवस्था शुरू होने के बाद बिना आवेदन नामांतरण और अभिलेखों में संशोधन हो जाएगा।  रजिस्ट्री के बाद के्रेता के पक्ष में अविवादित नामांतरण, फसेलेस, पेपरलेस तरीके से ऑनलाईन प्रक्रिया के द्वारा चौदह दिन में बिना आवेदन के और बिना तहसील का चक्कर लगाए स्वत: ऑटोमेटिक यह काम हो जाएंगे। खसरे और नक्शे में भी नये खरीददार का नाम चढ़ जाएगा। फिल्हाल यह व्यवस्था प्रदेश के 12 जिलों की 442 तहसीलों में लागू है। इसके माध्यम से अभी तक सोलह हजार से अधिक प्रकरणों का निपटारा किया जा चुका है।

दस दिसंबर 2021 को एमपी में देश की पहली सायबर तहसील बनाने के संबंध में कैबिनेट ने फैसला लिया था। पायलट प्रोजेक्ट के तहत सीहोर और दतिया जिले में साइबर तहसील बनाई गई थी। इसके बाद इंदौर, हरदा, डिंडौरी , सागर सहित बारह जिलों में सायबर तहसील व्यवस्था लागू की जा चुकी है। अब इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जा रहा है। इस व्यवस्था से अविवादित नामांतरण, बंटवारे के लिए तहसील जाने की जरुरत नहीं होगी। ऑनलाईन आवेदन करके ऐसे अविवादित नामांतरण, बंटवारे का निराकरण हो सकेगा। अब मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव इसे पूरे प्रदेश में लागू करने जा रहे है। राजस्व विभाग की समीक्षा बैठक में इसे लागू करने के संबंध में निर्देश मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव देंगे।

डिजिटलाइजेशन पर होगा फोकस
मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव राजस्व विभाग की समीक्षा बैठक में मध्यप्रदेश में डिजिटलाईजेशन लागू करने के संबंध में निर्देश जारी करेंगे।  भू स्वामित्व योजना औश्र पीएम स्वनिधि योजना, पीएम आवास योजना की समीक्षा भी सीएम करेंगे। रेवेन्यू केस मैनेजमेंट सिस्टम में नवाचार किए जाने और भूलेख पोर्टल को और अधिक इन्प्रूव करने के संबंध में भी सीएम अधिकारियों से चर्चा करेंगे।