नईदिल्ली
दिल्ली में इन दिनों कथित शराब घोटाले को लेकर राजनीतिक हंगामा बरपा हुआ है। आम आदमी पार्टी (आप) के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद संजय सिंह की गिरफ्तारी को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का दौर चल रहा है। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और आप के बीच तनातनी के बीच दिल्ली को लेकर एक सर्वे आया है। लोकसभा चुनाव को लेकर किए गए इस सर्वे में जनता का मूड भांपने की कोशिश की गई है। पिछले दो लोकसभा चुनाव में भाजपा ने दिल्ली में क्लीन स्वीप किया है। ऐसे में सबसे बड़ा सवाल यह है कि क्या इस बार कांग्रेस के साथ गठबंधन बना चुकी 'आप' अपने सबसे मजबूत गढ़ में खाता खोल पाएगी, जहां विधानसभा में उसके पास प्रचंड बहुमत है।
क्या है सर्वे का नतीजा
इंडिया टीवी-सीएनएक्स की ओर से पेश किए गए सर्वे में अनुमान लगाया गया है कि 2014 और 2019 की तरह 2024 में भी भाजपा दिल्ली में सबका सूपड़ा साफ कर देगी। बीजेपी एक बार फिर यहां सभी 7 लोकसभा सीटों पर जीत हासिल कर सकती है। कांग्रेस और आप का इस बार भी खाता खुलना मुश्किल दिख रहा है। सर्वे के मुताबिक दिल्ली में आज चुनाव हो जाएं तो भाजपा 52 फीसदी वोट शेयर पर कब्जा कर सकती है। अरविंद केजरीवाल की अगुआई वाली आप को 25 और कांग्रेस को 17 फीसदी वोट मिल सकते हैं। अन्य के खाते में 6 फीसदी वोट जाने का अनुमान है। यानी कांग्रेस और आप के वोट शेयर के कुल जोड़ से भी बीजेपी काफी आगे दिख रही है।
इसी एजेंसी ने जब जुलाई 2023 में सर्वे किया था तब बीजेपी को 5 और इंडिया गठबंधन को 2 सीटें मिलने का अनुमान लगाया गया था। अब तीन महीने बाद अक्टूबर के सर्वे में एक बार फिर भाजपा बढ़त बनाती दिख रही है। गौरतलब है कि आप और कांग्रेस के बीच गठबंधन पर सहमति बन गई है, लेकिन दोनों दलों के बीच केमेस्ट्री जमती नहीं दिख रही है। दोनों ही दलों के नेता एक दूसरे के खिलाफ बायनबाजी कर रहे हैं।
विधानसभा में प्रचंड बहुमत, लोकसभा चुनाव में निराशा
आम आदमी पार्टी के लिए दिल्ली में पिछले एक दशक में विरोधाभासी नतीजे आए हैं। विधानसभा चुनाव में जहां पार्टी ने दो बार प्रचंड बहुमत हासिल किया है तो लोकसभा चुनाव में अभी तक एक भी सीट हासिल नहीं कर पाई है। इस बार पार्टी ने कांग्रेस के नेतृत्व वाले विपक्षी गठबंधन में शामिल होकर भाजपा के सामने कड़ी चुनौती पेश करने की तैयारी की है। इसमें कितनी कामयाबी मिलती है यह तो आने वाले कुछ महीने में ही साफ हो पाएगा।