भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज मध्य प्रदेश के 36 लाख 86 हजार 856 गरीबों को राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत पात्रता पर्ची जारी की। बुधवार को समन्वय भवन में आयोजित कार्यक्रम में सीएम चौहान ने अन्न उत्सव का शुभारंभ किया। इस मौके पर उन्होंने भोपाल के कुछ गरीबों को पात्रता पर्ची वितरित की।
मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि मध्य प्रदेश में कोई भी भूखा रहे, कोई भी अपने हक के लिए भटके, यह मुझे मंजूर नहीं। गरीब के हक का अन्न उसे मिले, यह सुनिश्चित करना है। गरीबों का हक और अधिकार छीनने वाले लोगों को किसी भी कीमत पर बख्शा नहीं जाएगा। भगवान समदर्शी हैं। भगवान ने नदी, पहाड़ समेत सभी प्राकृतिक संसाधन सभी के लिए बनाए हैं। उन्होंने कभी भेदभाव नहीं किया। भेदभाव तो इंसानों ने ही किया।
मानव जीवन का अंतिम लक्ष्य है- परमात्मा की प्राप्ति। परमात्मा पूजा करने से मिलेंगे, यह तो नहीं पता; लेकिन गरीब की सेवा कर ली तो परमात्मा निश्चित रूप से प्रसन्न हो जाएंगे। जीवन को चलाने के लिए हवा, पानी के साथ रोटी आवश्यक है। भगवान ने हवा, पानी नि:शुल्क दिया है, लेकिन रोटी तो चाहिए। गरीब को रोटी देने का यह अन्न उत्सव भाजपा सरकार का छोटा सा प्रयास है। गरीब के सुख में ही हमारा सुख है।
नए हितग्राहियों को इस महीने से 5 किलो गेहूं या चावल मिलेगा
सभी नए हितग्राहियों को अन्य उचित मूल्य उपभोक्ताओं की तरह ही सितंबर महीने का प्रति सदस्य 5 किलो गेहूं या चावल और प्रति परिवार एक किलो आयोडीन नमक एक रुपए किलो की दर से दिया जाएगा। इसी तरह प्रत्येक परिवार को 1.5 लीटर केरोसीन कलेक्टर द्वारा निर्धारित दर पर दिया जाएगा। इसके साथ ही नए, पुराने सभी उपभोक्ताओं को प्रधानमंत्री गरीब अन्न योजना के तहत नवंबर तक प्रति सदस्य 5 किलो निशुल्क गेहूं या चावल और एक किलो दाल भी दी जाएगी।
वन नेशन, वन कार्ड के बाद गरीब कहीं भी ले सकेंगे राशन
मुख्यमंत्री ने प्रदेश में ‘वन नेशन वन राशन कार्ड योजना’ क्रियान्वयन शुरू हो गया है। इसके लिए उचित मूल्य उपभोक्ताओं की आधार सीडिंग का काम पूरा होने के बाद वह किसी भी राशन की दुकान से उचित मूल्य में राशन मिल सकेगा। इस व्यवस्था का सबसे ज्यादा लाभ उन प्रवासी मजदूरों को मिलेगा, जो मजदूरी के लिए देश के कई हिस्सों में जाते हैं।
प्रदेश में एक करोड़ 16 लाख 89 हजार से अधिक परिवार हैं
मध्य प्रदेश में वर्तमान में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत 1 करोड़ 16 लाख 89 हजार 136 पात्र परिवार हैं, जिनके परिवार के सदस्य मिलाकर 5 करोड़ 44 लाख 31 हजार 183 हैं। नए जोड़े जा रहे पात्र परिवारों की संख्या एक करोड़ 66 लाख 253 हैं, जिनके अभी नवीन जोड़े जा रहे पात्र हितग्राहियों की संख्या 35 लाख 24 हजार 443 हैं।